Sports

खेल डैस्क : स्पेन में एक फुटबॉल मैच के दौरान जब रैफरी ने 15 साल के सिख लड़के को पटका हटाकर आने को कहा तो दोनों टीमों ने विरोध कर दिया। रैफरी जब धार्मिक चिन्हों के बारे में बताने पर भी नहीं माना तो अराटिया क्लब के साथ-साथ विरोधी टीम (पडुरा डी अरिगोरियागा) ने भी मैच का बायकाट कर दिया। 

स्थानीय समाचार पत्र ला वानगार्डिया ने इस घटनाक्रम की पुष्टि की है। अखबार ने लिखा है कि रेफरी ने 15 वर्षीय लड़के गुरप्रीत सिंह से अपना पटका हटाने के लिए कहा क्योंकि उसने खिलाडिय़ों को समझाते हुए कहा कि उसने ‘टोपी पहन रखी है’ जोकि नियमों के अनुसार प्रतिबंधित है। 

गुरप्रीत सिंह की टीम के साथी सबसे पहले उनका समर्थन करने आए। उन्होंने रेफरी को समझाया कि यह उनके धर्म से जुड़ा एक तत्व है, जिसके साथ वह हमेशा खेलते रहे हैं। जब रेफरी ने हिलने से मना कर दिया, तो उन्होंने खेल का मैदान छोडऩे का भी फैसला किया।

क्लब अराटिया के अध्यक्ष पेड्रो ओरमजाबल ने बताया कि गुरप्रीत करीब पांच साल से इसी रूप में क्लब के लिए फुटबॉल खेल रहा है। हमें इससे पहले कोई समस्या नहीं हुई। लेकिन अब जो स्थिति बनी है यह निश्चित तौर पर अपमानजनक है। घटनाक्रम दूसरे हाफ के पहले मिनट में हुआ जब गुरप्रीत मैदान में गया। रेफरी फौरन उसके पास आया और उसे पटका उतारने को कहा। घटना संबंधी जानकारी इंस्टाग्राम पेज सिख एक्सपो से सामने आई।