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नई दिल्ली : भारत की 1964 टोक्यो ओलंपिक स्वर्ण पदक विजेता हॉकी टीम के कप्तान रहे चरणजीत सिंह का हिमाचल प्रदेश के ऊना में उनके घर पर दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया। वह लंबे समय से उम्र से जुड़ी बीमारियों से भी जूझ रहे थे। चरणजीत अगले महीने अपना 91वां जन्मदिन मनाने वाले थे। उनके परिवार में दो बेटे और एक बेटी है। पांच साल पहले भी चरणजीत को स्ट्रोक हुआ था और तब से वह लकवाग्रस्त थे। 

उनके बेटे वीपी सिंह ने बताया, ‘पांच साल पहले स्ट्रोक के बाद से वह लकवाग्रस्त थे। वह छड़ी से चलते थे लेकिन पिछले दो महीने से उनकी हालत और खराब हो गई। उन्होंने सुबह अंतिम सांस ली।' ओलंपिक स्वर्ण पदक विजेता टीम की कप्तानी के साथ वह 1960 रोम ओलंपिक की रजत पदक विजेता टीम में भी थे। इसके अलावा वह 1962 एशियाई खेलों की रजत पदक विजेता टीम के भी सदस्य थे। 

सिंह ने कहा, ‘मेरी बहन के दिल्ली से आने के बाद उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा।' चरणजीत की पत्नी का 12 वर्ष पहले निधन हो गया था। उनका बड़ा बेटा कनाडा में डॉक्टर है और छोटा बेटा उनके साथ था। उनकी बेटी विवाह के बाद से दिल्ली में रहती है।