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खेल डैस्क : भारतीय महिला क्रिकेटर स्मृति मंधाना (Smriti Mandhana) बीते दिन मशहूर क्विज शो कौन बनेगा करोड़पति में नजर आईं। इस दौरान उन्होंने क्रिकेट जगत में अपने सफर पर रोशनी डाली। मंधाना, जिन्होंने हाल ही में मुंबई के वानखेड़े स्टेडियम में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ भारत की ऐतिहासिक टेस्ट जीत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, ने बताया कि कैसे वह पिछले 7 वर्षों में महिला क्रिकेट टीम में आगे बढ़ीं।

 

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मंधाना ने कहा कि यह उनके पिता थे जो चाहते थे कि वह एक क्रिकेटर बनें क्योंकि वह खुद अपनी नौकरी के कारण खेल को आगे नहीं बढ़ा सके। स्मृति ने कहा कि मेरे पिता और भाई को क्रिकेट खेलना बहुत पसंद था। दुख की बात है कि मेरे पिता नौकरी के कारण क्रिकेट को जारी नहीं रख पाए। इसीलिए वह चाहते थे कि उनके दोनों बच्चे क्रिकेट खेलें। उन्हें उम्मीद थी कि हममें से किसी एक को भारत का प्रतिनिधित्व करने का मौका मिलेगा। इसलिए, जब मैं छोटी थी तब से क्रिकेट के बारे में सुनती आ रही थी। शायद तब भी जब मैं अपनी मां के गर्भ में थी।

 


मंधाना ने यह भी कहा कि अपने भाई को नेट्स पर बल्लेबाजी करते देखने के बाद उन्होंने अपनी बल्लेबाजी को दाएं हाथ से बदलकर बाएं हाथ की खिलाड़ी बना लिया। स्मृति ने कहा कि मैं अभ्यास सत्र में जाती थी और गेंद उठाकर अपने भाई की मदद करती थी। मैंने प्रैक्टिस नेट्स में उनके पीछे खड़े होकर बल्लेबाजी करना सीखा। भले ही मैं स्वाभाविक रूप से दाएं हाथ की बल्लेबाज हूं लेकिन मेरा भाई बाएं हाथ से खेलता था। इसलिए मैंने उसे देखकर बाएं हाथ से बल्लेबाजी करना शुरू कर दिया। मैं उनके पीछे खड़े होकर देखती रहती और इसी तरह मेरी क्रिकेट यात्रा शुरू हुई।