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कराची : पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (पीसीबी) ने बृहस्पतिवार को अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) को सूचित किया कि वह चैंपियंस ट्रॉफी के लिए ‘हाइब्रिड मॉडल' स्वीकार नहीं करेगा। पीसीबी ने साथ ही विश्व संचालन संस्था से शुक्रवार को होने वाली बोर्ड बैठक में विकल्प पर चर्चा नहीं करने के लिए कहा है। भारत के पाकिस्तान में टूर्नामेंट में खेलने के लिए अपनी टीम भेजने से इनकार कर दिया है जिसके बाद चैंपियंस ट्रॉफी के कार्यक्रम संबंधित उलझन सुलझान के लिए आईसीसी ने कार्यकारी सदस्यों की वर्चुअल बैठक बुलाई है। 

एक सूत्र ने कहा, ‘मैं पुष्टि कर सकता हूं कि पीसीबी ने कुछ घंटे पहले आईसीसी को बताया है कि टूर्नामेंट का ‘हाइब्रिड मॉडल' स्वीकार्य नहीं है।' पीसीबी ‘हाइब्रिड मॉडल' का विरोध कर रहा है और उसने आईसीसी को सलाह दी है कि चैंपियंस ट्रॉफी आयोजित करने के लिए कोई अन्य विकल्प ढूंढा जाए। पाकिस्तान बोर्ड का मानना है कि ‘हाइब्रिड मॉडल' में खेलने का मतलब भारत को तरजीह देना होगा। 

सूत्र ने कहा, ‘मैं पुष्टि कर सकता हूं कि शुरू में भारतीय टीम अगर पाकिस्तान में नहीं खेल सकती थी तो पीसीबी ने इस हालत में ‘हाइब्रिड मॉडल' में खेलने की संभावना पर विचार किया था। लेकिन भविष्य में 2031 तक (भारत और बांग्लादेश में वनडे विश्व कप) भारत में होने वाले सभी आईसीसी टूर्नामेंट ‘हाइब्रिड मॉडल' में ही खेले जायेंगे क्योंकि पाकिस्तान भारत में नहीं खेलेगा।' 

एक अन्य सूत्र ने पुष्टि की कि पीसीबी ने आईसीसी को यह भी सूचित करने के लिए याद दिलाया है कि क्या बीसीसीआई ने अपनी सरकार से लिखित में पत्र प्रस्तुत किया था जिसमें कहा गया था कि भारतीय टीम को पाकिस्तान में खेलने की मंजूरी नहीं दी गई थी। सूत्र ने कहा, ‘आईसीसी के नियमों के तहत अगर कोई टीम कहती है कि उसकी सरकार किसी भी आधार पर उसे दूसरे देश में खेलने की अनुमति नहीं दे रही है तो बोर्ड को अपनी सरकार के निर्देश लिखित में जमा करने होंगे जो हमने अभी तक नहीं देखे हैं।' 

उन्होंने कहा कि पीसीबी ने आईसीसी के आय सृजन में बीसीसीआई और भारतीय बाजार के योगदान को स्वीकार किया है लेकिन आईसीसी को याद दिलाया कि पिछले कुछ वैश्विक टूर्नामेंट के आंकड़ों के अनुसार पाकिस्तान ने भी भारत के खिलाफ अपने मैचों से राजस्व सुनिश्चित करने में बड़ी भूमिका निभाई है। उन्होंने कहा कि आईसीसी ने अभी तक वर्चुअल बैठक के समय की पुष्टि नहीं की है।