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नागपुर : विदर्भ ने फाइनल मुकाबले में रनों का पहाड़ करते हुए केरल को हराकर रविवार को पहली पारी में मिली बढ़त के आधार पर रणजी ट्रॉफी का खिताब अपने नाम कर लिया है। केरल और विदर्भ के बीच नागपुर में खेला गया फाइनल मुकाबला पांचवें दिन ड्रॉ पर समाप्त हुआ। विदर्भ को पहली पारी में केरल पर बनाई गई बढ़त के आधार पर जीत मिली और इस घरेलू टूर्नामेंट में चैंपियन बन गया। 

विदर्भ ने तीसरी बार रणजी का खिताब जीता है। इससे पहले उसने 2017-18 और 2018-19 में खिताब जीता था। विदर्भ के दानिश मालेवार को उनके शानदार प्रदर्शन के लिए ‘प्लेयर ऑफ द मैच' से नवाजा गया। वहीं विदर्भ के हर्ष दुबे को ‘प्लेयर ऑफ द सीरीज' का पुरस्कार मिला। 

विदर्भ ने कल के चार विकेट पर 249 रनों से आगे खेलना शुरु किया। आज सुबह के सत्र में मैच के पांचवें दिन करूण नायर ने अभी अपने कल के स्कोर में तीन रन जोड़े थे कि आदित्य सरवटे ने उन्हें अजरुद्दीन ने स्टंप कर पवेलियन भेज दिया। नायर ने (295) में 10 चौके और दो छक्के लगाते हुए (135) रनों की महत्वपूर्ण पारी खेली। हर्ष दुबे (चार) रन बनाकर आउट हुए। कप्तान अक्षय वड़कर(25) को सरवटे ने बोल्ड आउट किया। अक्षय कारनेवार (30) को एनपी बासिल ने बोल्ड किया। 

दोनों कप्तानों की मैच ड्रा करने की सहमिति के समय विदर्भ ने 143.5 ओवरों में नौ विकेट पर 375 रन बना लिए थे और दर्शन नालकंडे (51 अवजित) और यश ठाकुर (आठ) अविजित रहे। केरल की ओर से आदित्य सरवटे ने चार विकेट लिए। एम डी निधीष, जलज सक्सेना, ईडन ऐपल टॉम, एनपी बासिल और अक्षय चंद्रन ने एक-एक विकेट लिया।