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नई दिल्ली : एशियन गेम्स की 10 मीटर एयर पिस्टल इवैंट में भारत के लिए कांस्य लाने वाली हीना सिद्धू बाकी टीम इवैंट में शामिल न करने से थोड़ा निराश दिखी। कांस्य पदक विजेता हीना ने अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि उन्हें इन खेलों में सिर्फ एक स्पर्धा के लिए चुना गया जबकि मनु को तीन स्पर्धाओं (10 मीटर पिस्टल, 25 मीटर पिस्टल और मिश्रित टीम स्पर्धा) के लिए चुना गया। एशियाई खेलों के पहले हीना ने कहा था कि चयन मानदंडों के अनुसार उन्हें मिश्रित टीम में होना चाहिए था। उन्होंने एक बार फिर कहा- अब स्पर्धा खत्म हो गई है और अब उस बारे में बात करने का कोई फायदा नहीं। मुझे हालांकि अब भी लगता है कि मुझे मिश्रित टीम में जगह मिलनी चाहिए थी।

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मैं शुरू में ज्यादा कोशिश करती तो गोल्ड आता

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हीना ने कहा- यह (पदक हासिल करना) फाइनल में मेरे प्रयास के कारण हुआ। क्वालीफिकेशन के प्रदर्शन से निराश हूं। मैं उससे खुश नहीं हूं। लुधियाना की 28 साल की इस निशानेबाज ने कहा- फाइनल्स में मुझे पहले शॉट से ही कड़ी टक्कर मिली। फाइनल्स में आप ज्यादा दबाव में होते है। आप इस बात को लेकर आश्वस्त नहीं होते है कि आपकी गलती है या ग्रुप की। इसलिए मैं रक्षात्मक रहने की कोशिश कर रही थी। मुझे लगता है कि अगर मैंने जल्दी फैसला लिया होता और शुरूआत में ज्यादा निशाना लगाया होता तो मैं स्वर्ण जीत सकती थी।’’ इस साल राष्ट्रमंडल खेलों के 25 मीटर पिस्टल स्पर्धा में स्वर्ण और 10 मीटर पिस्टल स्पर्धा में रजत पदक जीतने वाली हीना ने एक बार फिर बड़े टूर्नामेंट में मानसिक मजबूती का परिचय दिया। गोल्ड कोस्ट में हुए राष्ट्रमंडल खेलों में मनु ने 10 मीटर पिस्टल स्पर्धा में हीना को पछाड़ का स्वर्ण पदक अपने नाम किया था।

मनु उम्मीदों पर नहीं उतरी खरी

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मनु यहां उम्मीदों पर खरी नहीं उतरी लेकिन आगामी विश्व चैम्पियनशिप में उनसे बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद होगी। उनके कोच जसपाल राणा ने कहा कि मनु को और अधिक समय दिए जाने की जरूरत है। उन्होंने कहा- वह अभी काफी युवा है। उसे यह सिखना होगा कि बड़े फाइनल के दबाव से कैसे निपटना है। यह अनुभव के साथ आएगा। आपको पदक जीतने के लिए परिपक्व होना होगा। हरियाणा की इस खिलाड़ी ने 25 मीटर पिस्टल स्पर्धा के क्वालीफिकेशन में इन खेलों के रिकॉर्ड बनाया था और वह आज क्वालीफिकेशन में तीसरे स्थान पर रहीं। विश्व कप में दो बार स्वर्ण पदक जीतने वाली हीना क्वालीफिकेशन के बाद 571 अंक के साथ सातवें स्थान जबकि मनु 574 अंक के साथ तीसरे स्थान पर थी।