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लंदन : इंग्लैंड के पूर्व कप्तान माइकल वान ने अपनी राष्ट्रीय क्रिकेट टीम के मुख्य कोच क्रिस सिल्वरवुड और कप्तान जो रूट की भारत के खिलाफ दूसरे टेस्ट मैच के दौरान बाउंसर रणनीति के लिये आलोचना की। मैच के पांचवें और अंतिम दिन लंच से पहले इंग्लैंड के गेंदबाजों ने भारत के पुछल्ले बल्लेबाजों मोहम्मद शमी और जसप्रीत बुमराह के लिये लगातार बाउंसर किये। इन दोनों के बीच नौवें विकेट के लिये 89 रन की अटूट साझेदारी की मदद से भारत ने इंग्लैंड के सामने 272 रन का लक्ष्य रखा और बाद में उसकी टीम को 120 रन पर आउट कर दिया। 

वान ने फेसबुक पोस्ट में लिखा कि दूसरे टेस्ट मैच के पांचवें दिन लंच से पूर्व के 20 मिनट के दौरान वह पतन देखने को मिला जो इंग्लैंड टेस्ट टीम का पिछले कई वर्षों में सबसे बुरा रवैया था। इंग्लैंड के निचले क्रम के बल्लेबाजों विशेषकर जेम्स एंडरसन को बाउंसर करने वाले बुमराह जब बल्लेबाजी के लिये आये तो उन्हें भी बाउंसर झेलने पड़े थे। इस बीच तेज गेंदबाज मार्क वुड और विकेटकीपर जोस बटलर से उनकी बहस भी हुई। इंग्लैंड की यह रणनीति हालांकि कारगर साबित नहीं हुई तथा बुमराह और शमी भारत को बेहतर स्थिति में पहुंचाने में सफल रहे। 

इस बारे में बहुत कुछ लिखा और कहा जा चुका है कि जसप्रीत बुमराह को बाउंसर करने की रणनीति इंग्लैंड को उल्टी पड़ी। जो रूट को उनके कुछ सीनियर खिलाड़ियों ने वास्तव में निराश किया जिन्हें तुरंत ही हस्तक्षेप करना चाहिए था लेकिन मैं कोच से भी हस्तक्षेप की उम्मीद करता था। 

वान ने कहा किसिल्वरवुड ने रूट को यह बताने के लिये किसी को पानी लेकर मैदान पर क्यों नहीं भेजा कि यह सब क्या चल रहा है और वह तुरंत अपनी रणनीति बदले। मैं जानता हूं कि यदि मैं ऐसा करता तो मेरे साथ डंकन फ्लैचर ने ऐसा ही किया होता। इस सत्र में इंग्लैंड ने अपने हाथ से मौका गंवा दिया। यह दूसरे टेस्ट मैच में महत्वपूर्ण पल था तथा इंग्लैंड ने इसे गंवा दिया। इसके लिये सिल्वरवुड भी जिम्मेदार थे।