पेरिस : भारतीय पहलवान विनेश फोगट ने ओलंपिक अयोग्यता के खिलाफ खेल पंचाट न्यायालय (CAS) में अपील की है। जानकारी के अनुसार उन्होंने 50 किग्रा भार वर्ग में संयुक्त रजत पदक की मांग की है। सूत्रों ने बुधवार रात को बताया, 'हां, उन्होंने अपील दायर की है। फैसला 8 अगस्त की सुबह आने की संभावना है। देखते हैं तब क्या होता है। लेकिन संभावना शून्य है। वे नियम नहीं बदल सकते।'

विनेश ने स्वर्ण पदक के लिए लड़ने का मौका खो दिया, क्योंकि वह बुधवार को सुबह अपने वर्ग में वजन से अधिक पाई गई थी। उन्होंने मंगलवार को अपने पहले मुकाबले में अब तक अजेय जापान की यूई सुसाकी को हराकर शानदार प्रदर्शन किया था। विनेश ने मंगलवार को ओलंपिक में फाइनल में पहुंचने वाली पहली भारतीय महिला पहलवान बनकर इतिहास रच दिया। लेकिन फाइनल की सुबह दूसरे वजन में उनका वजन अधिक पाया गया और उन्हें प्रतियोगिता से अयोग्य घोषित कर दिया गया।

विनेश का वजन 50 किग्रा की सीमा से 100 ग्राम अधिक पाया गया और इस तरह उन्हें प्रतियोगिता से बाहर कर दिया गया और यूनाइटेड वर्ल्ड रेसलिंग के नियमों के अनुसार उन्हें अंतिम स्थान पर रखा गया। वह जागती रही और अपने कोच, सहयोगी स्टाफ और भारतीय दल के मुख्य चिकित्सा अधिकारी के साथ पूरी रात कड़ी मेहनत की ताकि वह अपना वजन कम कर सके ताकि तीन मुकाबलों में खोए महत्वपूर्ण तरल पदार्थों की भरपाई हो सके और उसका वजन 50 किग्रा तक पहुंच सके लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ और उसका वजन केवल 100 ग्राम अधिक निकला। इस फैसले के आने के बाद वह बेहोश भी हो गई और उन्हें चिकित्सा सहायता लेनी पड़ी।