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नई दिल्ली : भारतीय पुरुष टीम बृहस्पतिवार को कजाकिस्तान के अस्ताना में चल रही एशियाई टेबल टेनिस चैंपियनशिप के सेमीफाइनल में चीनी ताइपे से 0-3 से हार गई जिससे उसे कांस्य पदक से संतोष करना पड़ा। भारतीय महिला टीम ने बुधवार को इसी प्रतियोगिता में कांस्य पदक जीता था जो 1972 से शुरू हुई इस चैम्पियनशिप के इस वर्ग में देश का पहला पदक है। 

विश्व रैंकिंग में 42वें नंबर पर काबिज दिग्गज अचंता शरत कमल को दुनिया के सातवें नंबर के प्रतिद्वंद्वी लिन युन जू से कड़ी चुनौती मिली और वह 11-7, 12-10, 11-9 से पराजित हो गए। इसके बाद मानव ठक्कर को दुनिया के 22वें नंबर के खिलाड़ी काओ चेंग-जुई से शिकस्त झेलनी पड़ी। चीनी ताइपे के इस खिलाड़ी ने ठक्कर को 11-9, 8-11, 11-3, 13-11 से हरा दिया। भारतीय टीम 0-2 से पिछड़ रही थी। 

तीसरे मैच में हरमीत देसाई को भी निराशा का सामना करना पड़ा जो हुआंग यान-चेंग से 6-11, 9-11, 7-11 से हार गये। भारतीय टेबल टेनिस महासंघ (टीटीएफआई) ने एक विज्ञप्ति में कहा, ‘हार के बावजूद भारतीय पुरुष टीम गर्व महसूस कर सकती है क्योंकि इस प्रतिष्ठित एशियाई चैंपियनशिप में कांस्य पदक जीतना कोई छोटी उपलब्धि नहीं है। पुरुष और महिला टीमों ने शानदार जज्बा और दृढ़ संकल्प दिखाया जिससे पता चलता है कि कि भारत अंतरराष्ट्रीय टेबल टेनिस में लगातार आगे बढ़ रहा है।'