स्पोर्ट्स डेस्क : पंजाब की गोल्डन गर्ल तन्वी शर्मा बैडमिंटन में जूनियर वर्ल्ड नंबर 1 बन गई हैं। तन्वी हाल ही में बीडब्लूएफ सुपर 300 यूएस ओपन 2025 में महिला एकल वर्ग में उपविजेता रहीं थी। महिला एकल के फाइनल में 16 वर्षीय तन्वी शर्मा को शीर्ष वरीयता प्राप्त अमेरिका की बेइवेन झांग के खिलाफ तीन गेम तक चले कड़े मुकाबले में हार का सामना करते हुए रजत पदक से संतोष करना पड़ा। विश्व टूर स्तर के अपने पहले फाइनल में खेल रही गैर-वरीयता प्राप्त इस किशोर खिलाड़ी को 46 मिनट में 11-21, 21-16, 10-21 से शिकस्त का सामना करना पड़ा।
विश्व में 66वें स्थान पर काबिज यह युवा भारतीय शटलर जूनियर विश्व की नंबर 1 खिलाड़ी बन गई है और विश्व बैडमिंटन रैंकिंग में शीर्ष 50 में शामिल हो गई है। उसने बीडब्ल्यूएफ सुपर 300 में अपने अभियान से वैश्विक बैडमिंटन समुदाय को चकित किया जिसमें विश्व की 23वें नंबर की खिलाड़ी सहित कई उच्च रैंक वाली प्रतिद्वंद्वियों को हराकर फाइनल में प्रवेश करना शामिल था।
तन्वी अगले महीने होने वाली एशियाई जूनियर चैंपियनशिप में पदक जीतने का लक्ष्य रखकर चल रही है। वह अब गुवाहाटी में भारतीय बैडमिंटन टीम के शिविर में शामिल होगी। टीम अगले महीने इंडोनेशिया में होने वाली एशियाई जूनियर चैंपियनशिप में भाग लेगी।
छह साल की उम्र में शुरु किया खेलना, मां ने निखारा
तन्वी ने 6 साल की छोटी सी उम्र में बैडमिंटन खेलना शुरू कर दिया था। शुरू से से ही प्रतिभाशाली रही तन्वी ने प्रतिष्ठित पुलेला गोपीचंद बैडमिंटन अकादमी में चार साल से अधिक समय तक प्रशिक्षण लिया। इस दौरान उसने भारत के कुछ शीर्ष शटलरों के साथ ट्रेनिंग ली जिसने उनके कौशल को निखारा। इस दौरान तन्वी की मां ने भी बेटी के साथ कड़ी मेहनत की और शुरू में उसके खेल को आकार देने और उसकी प्रतिभा को निखारने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।