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गुरुग्राम, 31 अक्टूबर (भाषा) भारतीय एथलेटिक्स महासंघ (एएफआई) ने शनिवार को एथलीटों और कोचों को कोविड-19 महामारी का लाभ उठाते हुए प्रतिबंधित दवाओं का उपयोग नहीं करने की चेतावनी दी और कहा कि अगर डोपिंग जारी रही तो देश को निलंबन का सामना करना पड़ सकता है।

एएफआई के अध्यक्ष आदिले सुमिरवाला ने कहा कि राष्ट्रीय शिविर के बाहर के एथलीटों द्वारा ऐसी प्रतिबंधित दवाओं के सेवन की संभावना है ।
सुमरिवाला ने एएफआई की वार्षिक आम बैठक के दौरान यहां कहा, ‘‘ नाडा (राष्ट्रीय डोपिंग रोधी एजेंसी) कोविड-19 महामारी के कारण अभी जांच नहीं कर रहा है। लेकिन मैं एथलीटों और कोचों से कहना चाहूंगा कि वे यह न सोचें कि इस वजह से वे प्रतिबंधित दवाएं ले सकते हैं और बच सकते हैं ।

उन्होंने कहा, ‘‘ ऐसे सिंथेटिक ड्रग्स (जाो एथलीट ले सकते हैं) एक साल के लंबे समय तक शरीर की प्रणाली में बने रहते हैं। वे (एथलीट) पकड़े जाएंगे। भारत दुनिया में डोपिंग के मामलों में तीसरे नंबर पर है। ऐसे में भारत पर प्रतिबंध लगाया जा सकता है।’’
सुमरिवाला शनिवार को अपने तीसरे और अंतिम चार साल के कार्यकाल के लिए एएफआई के अध्यक्ष के तौर पर निर्विरोध चुने गए। उन्होंने राष्ट्रीय शिविर के बाहर कोचों को कटघरे में खड़ा करते हुए कहा कि वे कई बार ‘जानबूझकर’ खिलाड़ियों को प्रतिबंधित दवाएं देते है।

उन्होंने कहा, ‘‘ जिला और राज्य स्तर पर कोच अपने खिलाड़ियों को ड्रग्स देते है और डोपिंग को बढ़ावा देते हैं। ये सरकारी कोच हैं। अगर उनके खिलाड़ी अच्छा करते हैं, तो इन कोचों को वित्तीय प्रोत्साहन मिलता है।’’


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