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नई दिल्ली : भाला फेंक के स्टार खिलाड़ी नीरज चोपड़ा का कहना है कि वह अगले सत्र में 88 मीटर के एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक जीतने वाले प्रदर्शन को लगातार दोहराना चाहते हैं जिसके बाद तोक्यो ओलंपिक से पहले 2020 में 90 मीटर के आंकड़े को पार करने की कोशिश करेंगे। एशियाई खेलों में 88 .06 मीटर के प्रयास के साथ स्वर्ण पदक जीतने वाले चोपड़ा ने कहा कि तकनीक में ‘छोटा’ बदलाव करके वह 90 मीटर के लक्ष्य को हासिल कर सकते हैं।

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चोपड़ा ने कहा- यह काफी संतोषजनक सत्र रहा। पूरे सत्र के दौरान मैं 85 मीटर से अधिक की दूरी तय करता रहा और जकार्ता में मैंने 88 मीटर के आंकड़े को छुआ। मुझे अब भरोसा है कि 90 मीटर का आंकड़ा मेरी जद में है, यह कभी भी हो सकता है। लेकिन ऐसा करने से पहले मुझे 88 मीटर के करीब का प्रयास लगातार करना होगा। यहां एक कार्यक्रम के इतर हरियाणा के इस 20 वर्षीय खिलाड़ी ने कहा, ‘‘मैं अगले साल लगातार 88 मीटर के आसपास के आंकड़े को छूने का प्रयास करूंगा और फिर 2020 ओलंपिक से पहले 90 मीटर के लिए कोशिश करूंगा। लेकिन बड़ी प्रतियोगिताओं (विश्व चैंपियनशिप और ओलंपिक जैसी) में आप इस दूरी (88 मीटर) के साथ भी पदक जीत सकते हैं।’’

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चोपड़ा 2016 में 86.48 मीटर के प्रयास के साथ भारत के पहले जूनियर विश्व चैंपियन एथलीट बने थे लेकिन उनके लिए पिछला सत्र साधारण रहा। लेकिन मौजूदा सत्र में वह विश्व स्तरीय भाला फेंक खिलाड़ी बनकर उभरे हैं। उन्होंने राष्ट्रमंडल और एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक जीता और प्रतिष्ठित डाइमंड लीग फाइनल में चौथे स्थान पर रहे। दुनिया के मौजूदा शीर्ष स्टार खिलाडिय़ों में वह एकमात्र खिलाड़ी हैं जो 20 साल से कम उम्र में 85 मीटर की दूरी को तय करने में सफल रहे। मौजूदा सक्रिय भाला फेंक खिलाडिय़ों में छह खिलाड़ी 90 मीटर की दूरी पार कर चुके हैं जिसमें जर्मनी के तीन खिलाड़ी भी शामिल हैं जो लगातार इस दूरी को हासिल कर रहे हैं।      

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चोपड़ा कड़ी चुनौती से वाकिफ हैं लेकिन उन्होंने कहा कि तकनीक में थोड़े से बदलाव से वह 90 मीटर की दूरी तय करने वाले खिलाडिय़ों में शामिल हो सकते हैं। उन्होंने कहा- मुझे अपनी तकनीक में छोटे बदलाव करने होंगे, जिसकी पहचान मेरे कोच (पूर्व विश्व रिकार्ड धारक उवे होन) के साथ की गई है। यह अगले सात्र नए सत्र से पहले किया जाएगा और मुझे अपनी दूरी में सुधार की उम्मीद है।