Sports

बेंगलुरूः दो बार की एकल ग्रैंडस्लैम विजेता मैरी पियर्स का कहना है कि आधुनिक युग के महान खिलाड़ी रोजर फेडरर में खेल का विश्लेषण करने की अछ्वुत क्षमता है और सेरेना विलियम्स सफलता हासिल करने की भूख के साथ पैदा हुई हैं, यही चीज इन दोनों को अन्य सभी खिलाडिय़ों से अलग करती है। मैरी ने 1995 में आस्ट्रेलियन ओपन और 2000 में फ्रेंच ओपन ट्राफी जीती थी, उन्होंने कहा कि फेडरर के तरकश में ऐसे शाट्स हैं जिन्हें सिखाया नहीं जा सकता।            

टेनिस के प्रति जुनूनी हैं रोजर
पियर्स अब संन्यास ले चुकी हैं, उन्होंने टीसीएस वल्र्ड 10 के बेंगलुरू 2018 के मौके पर कहा, ‘‘ रोजर के बारे में मैं सोचती हूं कि वह ऐसे शाट खेलते हैं जिन्हें किसी के द्वारा बताया नहीं जा सकता। यह ऐसा ही है कि वह यह करने के लिये जन्मा है। ’’ मैरी ने कहा, ‘‘ वह इतना बढिय़ा इसलिये खेलता है क्योंकि वह टेनिस को पंसद करता है और इसके प्रति जुनूनी है। वह घंटों तक अभ्यास करता है। अगर वह टीवी पर या स्टेडियम में मैच देखता है तो वह बडी दिलचस्पी के साथ इन्हें देखता है। उसके कोच ने मुझे बताया कि उन्होंने ऐसा कोई खिलाड़ी नहीं देखा जो टेनिस के बारे में इतनी बात करता हो और हमेशा विश्लेषण करता रहता हो। ’’ इन दो एकल ग्रैंडस्लैम खिताब के अलावा मैरी ने 2000 में मार्टिना हिंगिस के साथ महिला युगल फ्रेंच ओपन और भारत के महेश भूपति के साथ 2005 विम्बलडन में मिश्रित युगल की ट्राफी भी हासिल की थी।  

सेरेना में अंक हासिल करने की भूख
सेरेना विलियम्स के बारे में मैरी ने कहा कि यह अमेरिकी स्टार बेहतरीन प्रतिद्वंद्वी है। उन्होंने कहा, ‘‘ सिंगापुर टूर्नामेंट में उसे देखकर काफी प्रभावित हुई। मैं कमेंट्री कर रही थी और साथ के स्टैंड से उसे खेलते हुए देख रही थी। उसे देखकर ऐसा लग रहा था मानो उसके अंदर इतनी गहरी भूख है कि वह हर अंक जीतना चाहती है। मैंने अभी तक जितनी खिलाडिय़ों को देखा है , उनमें इस तरह का जज्बा नहीं देखा। ’’ सेरेना बेटी ओलंपिया को जन्म देने के बाद वापसी की कोशिश में जुटी हैं।अपने मिश्रित युगल जोड़ीदार भूपति के बारे में मैरी ने कहा कि वह शुरू से उनके साथ जोड़ी बनाकर खेलना चाहती थी क्योंकि वह दुनिया का बहुत ही सफल युगल और मिश्रित युगल खिलाड़ी है।            

उन्होंने कहा, ‘‘ मैंने हमेशा ही महेश को शानदार सफलता के साथ खेलते देखा है। महेश युगल और मिश्रित युगल में मुझसे ज्यादा सफल था। मैं उसके साथ खेलने का सपना देखती थी। हालांकि यह ज्यादा लंबे समय तक जारी नहीं रह सका। लेकिन जब किसी ने मुझे विम्बलडन में महेश के साथ खेलने का सुझाव दिया तो मैंने हां कर दी। ’’ मैरी ने कहा कि महेश के साथ खेलना सम्मान की बात थी क्योंकि उन्होंने इस भारतीय से काफी कुछ सीखा। उन्होंने कहा, ‘‘ उसके साथ खेलना शानदार था। वह काफी शांत दिखता है। वह अच्छा और मजाकिया है और मैंने कोर्ट पर उससे काफी कुछ सीखा। ’’ सानिया मिर्जा के बारे में बात करते हुए मैरी ने कहा, ‘‘ मैंने हैदराबाद में टूर्नामेंट में मैचों से पहले उसके साथ अभ्यास किया है और मैंने खुद से कहा कि भगवान , यह लड़की गेंद को इतनी ताकत से हिट करती है। अगर यह लगाातर हिट करती रही तो उसे हराना काफी मुश्किल हो जायेगा और वह निश्चित रूप से युगल में नंबर एक तक पहुंची थी। ’’