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नई दिल्लीः खिलाड़ी मैदान में अपना साै प्रतिशत देने के लिए दिन-रात मेहनत करते हैं। देश के लिए कुछ कर गुजरने की चाहत रखने वाले खिलाड़ी यह भी आस रखते हैं कि उन्हें वो सम्मान भी मिले जिसके लिए वह हकदार हैं। बॉक्सिंग वर्ल्ड में किसी को खूब शौहरत मिली तो वो हैं विजेंदर सिंह। लेकिन इनके अलावा भी एक ऐसा शख्स है जिसने देश के लिए 17 गोल्ड जीते पर आज वह दर-दर की ठोकरें खा रहा है। समय इतना बुरा आ चुका की उसे घर चलाने के लिए ठेले पर आइसक्रीम बेचना पड़ रही है। जी हां, हम बात कर रहे हैं इंटरनेशनल बॉक्सर दिनेश कुमार की। 

इसलिए ठेले पर काम करने को हैं मजबूर
दिनेश भारत के लिए 17 गोल्ड, 1 सिल्वर और 5 ब्रॉन्ज मेडल जीते हैं। वह भिवानी में दो वक्त की रोटी और लोन चुकाने के लिए सड़कों पर आइसक्रीम का ठेला लगाते हैं। परिस्थितियां खराब होने के बाद वो अब सरकार से मदद मांग रहे हैं। उनके पिता ने इंटरनेशनल टूर्नामेंट के लिए लोन लिया था। जिसको चुकाने के लिए वो पिता के साथ आइसक्रीम बेचते हैं। 

दिनेश ने इस बारे में कहा, मेरे पिता ने इसलिए कर्ज लिया क्योंकि वो चाहते थे कि मैं अंतरराष्ट्रीय स्पर्धाओं में भाग ले सकूं। अब मैं उस कर्ज को चुकाने के लिए पिता के साथ आइसक्रीम बेच रहा हूं। न ही मौजूदा और न ही पिछली सरकारों ने उनकी कोई मदद नहीं की। मेरा सरकार से अनुरोध है कि वो मेरी मदद करें और किसी स्थाई नौकरी का मेरे लिए इंतजाम करें। 

दिनेश कुमार की आइसक्रीम बेचते हुई तस्वीरें सोशल मीडिया पर काफी वायरल हो रही हैं। वो सपनों को छोड़कर अब पिता की मदद कर रहे हैं ताकी उनका लोन चुकता हो सके। ये पहला मामला नहीं है, कई ऐसे खिलाड़ी हैं जिन्होंने देश का नाम रौशन किया लेकिन, वो गुमनामी जिंदगी जी रहे हैं। 30 वर्षीय दिनेश ने साल 2010 में ग्वांगजू एशियाई खेलों में बाक्सिंग के  लाइट हैवीवेट वर्ग स्पर्धा में रजत पदक भी जीता था।