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नई दिल्ली : ओलंपिक चैम्पियन को लगातार दो बार हराना कोई छोटी उपलब्धि नहीं लेकिन मुक्केबाज अमित पंघाल को लगता है कि उज्बेकिस्तान के ‘गोल्डन ब्वॉय’ हसनबाय दुसमातोव को पटखनी देना उनके लिए बड़ी बात नहीं जो अब इस भारतीय खिलाड़ी से ‘थोड़े डरे हुए’ हैं। पंघाल ने विश्व चैम्पियनशिप के रजत पदक विजेता एवं रियो ओलंपिक के स्वर्ण पदकधारी दुसमातोव को पहली बार सितंबर 2018 में एशियाई खेलों के फाइनल में हराया था। इसके बाद उन्होंने पिछले सप्ताह एशियाई चैंपियनशिप में सोने का तमगा हासिल करने से पहले क्वार्टर फाइनल मुकाबले में दुसमातोव को शिकस्त दी।

Hasanboy intimidated by me now: Amit Panghal

दुसमातोव इस टूर्नामेंट के पिछले दो बार के चैम्पियन थे। अमित ने कहा- कुछ नहीं हैं (दुसमातोव को हराना), मुझे लगता है इस बार वह मुझ से थोड़ा डरा हुआ था। वह पूरे लय में नहीं था। पंघाल 2017 में एशियाई चैम्पियनशिप में कांस्य पदक जीतने के बाद से शानदार फार्म में है। इसके बाद उन्होंने विश्व चैम्पियनशिप के क्वार्टर फाइनल में भी जगह बनाई थी जहां करीबी मुकाबले में दुसमातोव ने उन्हें हरा दिया था। उन्होंने इसके बाद 2018 में इंडिया ओपन और बुल्गारिया में स्ट्रैंडजा मेमोरियल टूर्नामेंट में स्वर्ण पदक हासिल किया। 

Hasanboy intimidated by me now: Amit Panghal

पंघाल ने राष्ट्रमंडल खेलों में रजत और एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक हासिल किया। पंघाल अपने लय को जारी रखते हुए इस साल के शुरू में स्ट्रैंडजा मेमोरियल टूर्नामेंट में 52 किग्रा में स्वर्ण पदक जीता था। उन्होंने कहा कि कम से अधिक भार वर्ग में जाना उनके लिए काफी मुश्किल था। उन्होंने कहा- आप कहेंगें की चीजें सही रही। यह भी तथ्य है कि इस भार वर्ग में ज्यादातर वही खिलाड़ी थे जिनके खिलाफ मैं 49 किग्रा भर वर्ग में खेलता था। मेरी किस्मत अच्छी रही कि सभी ने एक ही समय में अधिक भार वर्ग में खेलने का फैसला किया।

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पंघाल का ध्यान अब रूस में सात सितंबर से होने वाली विश्व चैम्पियनशिप पर है जहां से ओलंपिक टिकट हासिल करने का पहला क्वालीफाइंग टूर्नामेंट होगा। उन्होंने कहा- मेरा कार्यक्रम काफी व्यस्त है जिसमें इटली और आयरलैंड में प्रशिक्षण शामिल है। इस माह के आखिर (20 मई से गुवाहाटी) में इंडिया ओपन है। इसलिए मेरे पास तैयारी का अच्छा मौका है।