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नई दिल्ली : पूर्व जूनियर विश्व चैम्पियन निकहत जरीन (51 किग्रा) शुक्रवार को बैंकाक में चल रहे थाईलैंड अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंट के फाइनल में जगह बनाने वाली एकमात्र महिला मुक्केबाज रहीं जबकि एशियाई रजत पदक विजेता दीपक सिंह (49 किग्रा) सहित चार पुरूष मुक्केबाज स्वर्ण पदक के लिए खेलेंगे। दीपक के अलावा आशीष कुमार (75 किग्रा), राष्ट्रमंडल खेलों के कांस्य पदकधारी मोहम्मद हसमुद्दीन (56 किग्रा) और ब्रिजेश यादव (81 किग्रा) स्वर्ण पदक मुकाबला खेलेंगे। हालांकि पूर्व एशियाई युवा रजत पदकधारी आशीष (69 किग्रा) अपनी सेमीफाइनल बाउट में हार गए जिससे उन्हें कांस्य पदक से संतोष करना पड़ा। 

आशीष को चुनौतीपूर्ण मुकाबले में थाईलैंड के वुटीचाई मासुक से मात मिली। महिला मुक्केबाजों में मंजू रानी (48 किग्रा) और भाग्यवती काचरी (81 किग्रा) ने अपना अभियान तीसरे स्थान से समाप्त किया। मंजू को थाईलैंड की चुथामत रकसत से जबकि भाग्यवती को चीन की लि कियान से हार का मुंह देखना पड़ा। इससे पहले दीपक को भूटना के ताशी वांगडी के खिलाफ जरा भी पसीना नहीं बहाना पड़ा जिन्हे आंख के ऊपर कट लगा और जज ने काउंट करने के बाद फैसला भारतीय के हक में कर दिया। हैदराबाद की निकहत ने थाईलैंड की जूटामास जिटपोंग के खिलाफ अपने लगातार पंच से प्रभावित किया और स्थानीय प्रबल दावेदार को 4-1 से शिकस्त दी। 

हसमुद्दीन (56 किग्रा) ने थाईलैंड के अमारित याओदाम पर 3-2 से जीत हासिल की। आशीष ने 75 किग्रा में उज्बेकिस्तान के फनत काखरामनोव को हराकर फाइनल में प्रवेश किया। ब्रिजेश ने स्थानीय प्रबल दावेदार सारानोन क्लोमपियन के खिलाफ शानदार प्रदर्शन किया और स्वर्ण पदक के मुकाबले में पहुंचे।