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नई दिल्लीः जब भी कोई सेलिबिट्री सड़क से गुजरती है, तो उसको देखने के लिए लोगों की भीड़ उमड़ जाती है। पूर्व भारतीय कप्तान साैरव गांगुली को पूरी दुनिया जानती है आैर उनसे मिलने के लिए हर कोई चाह रखता है। लेकिन एक बार ऐसा भी आया था कि गांगुली लोगों की भीड़ में शामिल तो हो गए पर उन्हें कोई पहचान नहीं पाया। जी हां, इस बात का खुलासा उन्होंने खुद अपनी किताब ''अ सेंचुरी इज़ नॉट एनफ'' में किया है।

बन गए थे 'सिंग इज किंग'
गांगुली ने किताब के जरिए बताया कि कोलकाता में सरदार के भेष में दुर्गा पूजा में शामिल हुए थे। गांगुली के अनुसार उनके सभी भाई-बहनों ने उनका मजाक उड़ाया। किसी को विश्वास नहीं था कि गांगुली अपना पहचान छिपाने में सफल होंगे। गांगुली ने इस चुनौती को स्वीकार कर लिया। उन्हें सरदार के रूप में उनकी पत्नी डोना ने तैयार किया था। 

किताब में लिखा गया कि जैसे ही कार बाबुघाट के पास पहुंची, पुलिस निरीक्षक ने कार की खिड़की के अंदर झांका, गांगुली को ध्यान से देखा और मुस्कुरा दिया, उसने गांगुली को पहचान लिया था। उस समय गांगुली को बहुत शर्मिंदगी महसूस हुई, लेकिन उन्होंने उस पुलिसवाले से कहा कि वो यह बात किसी को भी ना बताए। उस समय गांगुली का यह फैसला रंग लाया, और उन्होंने दुर्गा विसर्जन देखा।