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नई दिल्लीः भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व बल्लेबाज सचिन तेदुलकर भले ही क्रिकेट अलविदा कह गए हों, लेकिन बावजूद इसके उनके प्रशंसकों की संख्या करोड़ों में है। उन्होंने अपने क्रिकेट करियर के दाैरान कई उपलब्धियां हासिल कीं। यही कारण है कि आज उन्हें क्रिकेट का भगवान कहा जाता है। सचिन ने आज से ठीक चार साल पहले 14 नवंबर 2013 को एक ऐसा फैसला लिया था जिसपर सारे क्रिकेट प्रेमियों की आंखें भर आई थीं। 
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आज ही के दिन खेली थी आखिरी पारी
सचिन ने आज ही के दिन यानी 16 नवंबर को मैदान में अपने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट करियर की आखिरी पारी खेली थी। भारत ने वानखेड़े स्टेडियम में विंडीज के खिलाफ टेस्ट खेला। सचिन के करियर का यह आखिरी मैच था आैर उन्होंने 118 गेंदों में 12 चाैकों की मदद से 74 रनों की शानदार पारी खेली थी। साथ ही दिलचस्प बात यह थी कि सचिन ने 2 ओवर की गेंदबाजी भी की जिसमें उन्होंने सिर्फ 8 रन खर्च किए थे। भारत ने यह मैच तीसरे दिन ही एक पारी आैर 126 रन से जीता आैर 2 टेस्ट मैचों की सीरीज 2-0 से जीतकर सचिन को यादगार विदाई दी। 
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फैंस हुए थे निराश
फैंस इस मैच के तीन दिन में खत्म होने से निराश भी दिखाई दिए क्योंकि सचिन को वह दोबारा बैटिंग करते हुए देखना चाहते थे। जीत के बाद पूरी टीम ने उन्हें 'गार्ड ऑफ हॉनर' दिया। इसी पल को याद करते हुए सचिन ने अपने इंस्टाग्राम अकाउंट पर विदाई मैच की तस्वीर को शेयर करते हुए लिखा- यह दिन मेरे लिए करियर के सबसे मुश्किल दिनों में से एक था, लेकिन बिलकुल भी अकेला नहीं था, क्योंकि मेरा देश, मेरा परिवार मेरे साथ था।'
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सचिन का क्रिकेट करियर
सचिन को 'क्रिकेट के भगवान' का दर्जा प्राप्त है। इस बात का प्रमाण उनका करियर है। महान बल्लेबाज ने 200 टेस्ट खेले हैं जिसमें 53.78 की औसत से 15,921 रन बनाए हैं। इस दौरान उन्होंने 51 शतक और 68 अर्धशतक जमाए हैं। टेस्ट में उनका सर्वश्रेष्ठ स्कोर 248* रहा। वन-डे में सचिन ने 463 मैच खेले और 49 शतक व 96 अर्धशतक की मदद से 18,426 रन बनाए। वन-डे में सचिन का सर्वश्रेष्ठ स्कोर नाबाद 200 रन रहा।
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